चंदौली में पुरुष नसबंदी पर दिया जा रहा है जोर, मनाया जा रहा है पुरुष नसबंदी पखवाड़ा

tds_top_like_showtds_top_like_showtds_top_like_showtds_top_like_showtds_top_like_show एक समय प्रदेश भर में पुरुष नसबंदी में अव्वल रहने वाले चंदौली जिले में परिवार नियोजन कार्यक्रम के तहत चलाये जा रहे पुरुष नसबंदी पखवाड़े के दौरान पुरुषों की सहभागिता बढ़ाने पर स्वास्थ्य विभाग की ओर से जोर दिया जा रहा है। इसके लिए 1905 आशा व 248 एएनएम घर-घर जाकर दंपति से संपर्क कर
 

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एक समय प्रदेश भर में पुरुष नसबंदी में अव्वल रहने वाले चंदौली जिले में परिवार नियोजन कार्यक्रम के तहत चलाये जा रहे पुरुष नसबंदी पखवाड़े के दौरान पुरुषों की सहभागिता बढ़ाने पर स्वास्थ्य विभाग की ओर से जोर दिया जा रहा है। इसके लिए 1905 आशा व 248 एएनएम घर-घर जाकर दंपति से संपर्क कर उनका पंजीकरण कराने के लिए जागरूक कर रही हैं। वहीं जिला संयुक्त हास्पिटल चकिया व चंदौली, जिला महिला अस्पताल, तीन सामुदायिक स्वास्थ्य केंद्र व छह ब्लॉक प्राथमिक स्वास्थ्य केंद्रों पर सुविधा बहाल की गई है।

अपर मुख्य चिकित्सा अधिकारी व परिवार नियोजन के नोडल अधिकारी डा. संजय सिंह ने बताया कि जिले में परिवार नियोजन कार्यक्रम अभियान 21 नवंबर से चल रहा है। अभियान आगामी चार दिसंबर तक चलेगा।

अधिकारी ने बताया कि नसबंदी पखवारे का मुख्य उद्देश्य जनसंख्या स्थिरता के लिए पुरुषों को जागरूक करने के साथ ही जन समुदाय में उनके सहयोग से नसबंदी कार्यक्रम को सफतापूर्वक गति देना है। कहा कि कोविड काल के दौरान जनसंख्या स्थिरीकरण के लिए पुरुषों को जागरूक करने के साथ परिवार नियोजन के कार्यक्रम को सफल बनाने, पुरुषों की सहभागिता को बढ़ाने और प्रेरित करने को व्यापक स्तर पर प्रचार प्रसार किया जा रहा है।

पुरुष पखवाड़े को जिले में दो चरणों में चलाया जा रहा है। प्रथम दंपति संपर्क चरण 21 से 27 नवंबर तक चलाया गया। वहीं दूसरा 28 नवंबर से 4 दिसंबर के बीच सेवा प्रदायगी चरण का आयोजन किया जा रहा है। इस आयोजन के लिए जिले की आशा व एएनएम महत्वपूर्ण भूमिका निभा रही हैं। साथ ही विभाग की ओर से जनसमूह से संवाद स्थापित कर परिवार नियोजन के स्थाई व अस्थाई साधनों के प्रति जागरूक करने का कार्य किया जा रहा है।

अब तक केवल दो पुरुषों की नसबंदी

जिले में एक अप्रैल से अब तक कुल 2035 महिलाएं और दो पुरुषों की नसबंदी हुई है। एक से अधिक बच्चों वाले दंपति को इस पखवाड़े के माध्यम से परिवार नियोजन के साधन अपनाने के लिए प्रेरित किया जा रहा है। पुरुष नसबंदी को अपनाने से किसी भी तरह की कोई क्षति नहीं होती है। यदि दो बच्चे हैं, तो वह नसबंदी करवाने के लिए आशा व एएनएम से संवाद स्थापित कर जागरूक कर सेवा ले सकते हैं।

लाभार्थियों को मिलती है प्रोत्साहन धनराशि

पुरूष व महिला नसबंदी कराने पर बकायदे प्रतिपूर्ति राशि दी जाती है। पुरुष नसबंदी वाले लाभार्थियों को 3 हजार रुपये व महिला नसबंदी के लाभार्थियों को 2 हजार रुपये की प्रतिपूर्ति राशि दी जाती है। साथ ही अंतरा इंजेक्शन के लाभार्थियों को 100 रुपये दिया जाता है। वहीं आशा कार्यकर्ता को पुरुष नसबंदी पर 400 रुपये व महिला नसबंदी पर 300 रुपये और अंतरा इंजेक्शन पर 100 रुपये प्रोत्साहन राशि के रूप में दिए जाते हैं।