अमरनाथ यात्रा को लेकर कितना जानते हैं आप, आखिर किसने खोजी थी अमरनाथ गुफा

हर साल कश्मीर के अनंतनाग जिले में स्थित अमरनाथ गुफा में प्राकृतिक शिवलिंग के दर्शन के लिए यात्रा निकाली जाती है। इस शिवलिंग के दर्शन के लिए देश भर से लाखों भक्त यहां आते हैं।
 

किस ग्रंथ में मिलता है अमरनाथ गुफा का जिक्र

शुरू हो गयी है अमरनाथ यात्रा

इस साल 19 अगस्त 2024 तक चलेगी यात्रा

हर साल कश्मीर के अनंतनाग जिले में स्थित अमरनाथ गुफा में प्राकृतिक शिवलिंग के दर्शन के लिए यात्रा निकाली जाती है। इस शिवलिंग के दर्शन के लिए देश भर से लाखों भक्त यहां आते हैं। इस बार अमरनाथ यात्रा 29 जून, शनिवार से शुरू हो चुकी है। ये यात्रा 52 दिनों तक यानी 19 अगस्त 2024 तक चलेगी। इस साल अमरनाथ यात्रा के लिए 3.50 लाख से ज्यादा लोगों ने रजिस्ट्रेशन कराया है, जो तय समय पर इस यात्रा में शामिल होंगे और बाबा अमरनाथ के दर्शन करेंगे।


किसने खोजी थी अमरनाथ गुफा


अमरनाथ हिंदुओं का प्रमुख तीर्थस्थल है। वैसे तो ये स्थान हजारों साल पुराना है, लेकिन जानकारी के अभाव में ये स्थान काफी समय तक लुप्त रहेगा। कहा जाता है कि वर्तमान में इस गुफा की खोज बूटा मलिक नाम के एक गडरिए ने की थी। कुछ लोगों को मानना है कि बूटा मलिक एक मुस्लिम था, जबकि कुछ को मत है कि वह गुज्जर समुदाय से था।


क्या है अमरनाथ गुफा के मिलने की कथा?


कहा जाता है कि एक दिन जब बूटा मलिक इस स्थान के आस-पास बकरियां चला रहा था तभी उसे एक साधु मिलने, जिसने उसे एक कोयले से भरी सिगड़ी दी। घर पहुंचकर जब बूटा मलिक देखा कि सिगड़ी का कोयला सोने में बदल गया है। बूटा मलिक साधु को ढूंढने उस स्थान पर पहुंचा। वहां उसे एक गुफा दिखाई थी। बूटा मलिक ने गुफा में बर्फ का विशाल शिवलिंग देखा। धीरे-धीरे ये बात चारों ओर फैल गई। कश्मीर के राजा तक भी ये बात पहुंच गई। राजा ने इस स्थान को प्रसिद्ध तीर्थ स्थान के रूप में प्रचारित किया।


किस ग्रंथ में अमरनाथ गुफा का वर्णन?


12वीं सदी में लिखी गई कल्हण की पुस्तक राजतरंगिणी में अमरनाथ गुफा का वर्णन मिलता है। उसके अनुसार, 11वीं सदी में रानी सूर्यमती ने अमरनाथ मंदिर में त्रिशूल, बाणलिंग समेत कई अन्य पवित्र चीजें दान की थीं। प्राचीनकाल में बाबा अमरनाथ का ये स्थान 'अमरेश्वर' के नाम से प्रसिद्ध था। कहा जाता है कि बाबा अमरनाथ के दर्शन काशी से 10 गुना, प्रयागराज से 100 गुना और नैमिषारण्य से हजार गुना पुण्य देने वाला तीर्थस्थल है। 


ऐसी मान्यता है कि अमरनाथ गुफा में बाबा बर्फानी के दर्शन करने से 23 तीर्थों के पुण्य का लाभ मिल जाता है।