नौगढ़ के इस विद्यालय के हेडमास्टर को है प्रधान से जान का खतरा, लगा रहा है जान-माल की रक्षा की गुहार
प्राथमिक विद्यालय जमसोती के प्रधानाध्यापक का मामला
हेडमास्टर ने की शिकायत, प्रधान से खतरा
लग रही तबादले की कोशिश
चन्दौली जिले में तहसील नौगढ़ के प्राथमिक विद्यालय जमसोती के प्रधानाध्यापक को ग्राम प्रधान से अपनी जान का खतरा है। उसने अपने जान-माल की रक्षा करने हेतु जिलाधिकारी और पुलिस अधीक्षक को पत्र लिखकर गुहार लगा रहा है।
आपको बता दें कि लौवारी कला के ग्राम प्रधान यशवंत सिंह यादव के द्वारा प्राथमिक विद्यालय जमसोती पर नियुक्त प्रधानाध्यापक विवेकानंद दुबे के द्वारा स्कूल से गायब रहने की शिकायत अधिकारियों से किया था। इसी दौरान जिलाधिकारी संजीव सिंह को जानकारी मिली कि कुछ जुगाड़ लगाकर स्कूल जाने के बजाए कहीं सम्बद्ध हैं तो संज्ञान लेते हुए उन्होंने अध्यापकों को मूल विद्यालय में भेजने को कहा। इसके बाद से उक्त प्रधानाध्यापक के द्वारा बिना स्कूल आए हाजिरी बनाया जाने लगा। इतना ही नहीं गांव के बच्चों की सेल्फी खींचकर बेसिक शिक्षा ग्रुप में घर बैठे ही भेजा जा रहा था।
ग्राम प्रधान यशवंत सिंह ने इस कारनामे की जानकारी ग्राम प्रधान के द्वारा निदेशक बेसिक शिक्षा, आयुक्त वाराणसी और डीएम को पत्र लिखकर दी गई। शिकायत के बाद अपने को व्यायाम प्रशिक्षक बताने वाले प्रधानाध्यापक के द्वारा ग्राम प्रधान से जान का खतरा बताते हुए अधिकारियों को शिकायती पत्र भेजकर जान माल के सुरक्षा की गुहार लगाई है। इस मामले में एबीएसए अवधेश नारायण सिंह के द्वारा जांच पड़ताल किया जा रहा है।
जांच पड़ताल कर रहे चौकी इंचार्ज
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अधिकारियों के निर्देश पर जांच पड़ताल की जा रही है। प्रधानाध्यापक और गांव के लोगों का भी बयान लिया गया है। शिकायत भ्रामक है।
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क्या कहते हैं ग्राम प्रधान यशवंत सिंह यादव
बीएसए द्वारा लगाए गए प्रतिबंध के बाद भी प्रधानाध्यापक के द्वारा एसएमसी खाते से रुपया निकाला गया है। बगैर मोहल्ला क्लास चलाए भ्रामक सूचना दी गई थी जिसकी लिखित शिकायत मेरे द्वारा अधिकारियों को दी गई है। स्थानांतरण कराने हेतु शिकायत किया जा रहा है।
स्थानांतरण कराने का जुगाड़
इसके पहले भी माध्यमिक विद्यालय नरकटी के 3 अध्यापकों ने नक्सलियों के द्वारा डराने धमकाने का मामला उठाकर स्कूल का संचालन बंद कर दिया था, प्रशासन काफी दिनों तक हलकान रहा। जांच पड़ताल मे यह उजागर हुआ कि अध्यापक अपना स्थानांतरण कराना चाहते हैं। हालांकि अधिकारियों ने उन अध्यापकों के विरुद्ध आज तक कोई कार्रवाई नहीं की।