नौगढ़ में महर्षि वाल्मीकि जयंती समारोह, विधायक कैलाश आचार्य ने किया उद्घाटन
 

मुख्य अतिथि विधायक कैलाश आचार्य ने बताया कि महर्षि वाल्मीकि, जिन्हें वैदिक काल के महान ऋषियों में से एक माना जाता है, ने कठोर तप अनुष्ठान के बाद महर्षि का पद प्राप्त किया।
 

चंदौली जिले के तहसील नौगढ़ में देवखत स्थित महर्षि वाल्मीकि सेवा संस्थान में गुरुवार को महर्षि वाल्मीकि जयंती समारोह का आयोजन हुआ। चकिया विधायक कैलाश प्रसाद ने महर्षि वाल्मीकि के चित्र पर माल्यार्पण एवं दीप प्रज्वलन कर समारोह का उद्घाटन किया। पीडीडीयू नगर से आए वक्ताओं ने महर्षि वाल्मीकि के जीवन चरित्र पर प्रकाश डाला।

पूर्व भाजपा मंडल नौगढ़ अध्यक्ष देवेंद्र साहनी ने वाल्मीकि जी के व्यक्तित्व को प्रेरणादायक बताया और कहा कि उनके जीवन से बहुत कुछ सीखने को मिलता है। उन्होंने अपने जीवन की एक घटना से प्रेरित होकर जीवन पथ बदल दिया, जिसके फलस्वरूप वे एक महान कवि बने।

मुख्य अतिथि विधायक कैलाश आचार्य ने बताया कि महर्षि वाल्मीकि, जिन्हें वैदिक काल के महान ऋषियों में से एक माना जाता है, ने कठोर तप अनुष्ठान के बाद महर्षि का पद प्राप्त किया। परमपिता ब्रह्मा के आशीर्वाद से उन्होंने भगवान श्री राम के जीवन पर आधारित महाकाव्य 'रामायण' की रचना की। कार्यक्रम में पुरुषोत्तम राय ने वाल्मीकि के जीवन के आरंभिक संघर्षों पर चर्चा करते हुए बताया कि उनका जन्म भील जाति में हुआ और उन्होंने प्रारंभिक जीवन में डाकू का जीवन जीया। परंतु, एक घटना ने उनके जीवन की दिशा बदल दी और वे महान ऋषि बने।

समारोह का संचालन विजेंद्र ने किया। इस अवसर पर संस्थान के मंत्री बच्चा बाबू, सुरेश सिंह, भगवान दास अग्रहरी, प्रधान प्रतिनिधि दीपक गुप्ता, अश्वनी पांडे, राजनाथ यादव सहित संस्थान के अन्य पदाधिकारी और छात्रवासी बच्चे उपस्थित रहे।