नौगढ़ थाने में जुटे तीन जिलों के पुलिस अफसर, सोनभद्र और बिहार के बॉर्डर पर विशेष चौकसी बरतने का निर्देश
जेल से छूटकर आए नक्सलियों के परिवार पर ध्यान देने की जरूरत
विकास की मुख्य धारा से जोड़ने पर हुई चर्चा
बनी आसपास के जिले व प्रदेशों के अफसरों ने बनायी रणनीति
इस बैठक में नक्सली गतिविधियों पर चर्चा के दौरान उन पर नजर रखने पर बल दिया गया और बताया गया कि समय -समय पर इनकी स्थानीय थाने पर उपस्थिति दर्ज कराई जाए नक्सली गांवों में हुए विकास कार्यो की समीक्षा भी की गई।
बताया गया कि बिहार और उत्तर प्रदेश की सीमा पर चौकसी बरती जा रही है। चंदौली के अलावा बिहार राज्य के कैमूर, मिर्जापुर व सोनभद्र पुलिस व पीएसी के अधिकारियों ने मंथन कर इसमें सतर्कता बढ़ाने और सूचनाओं के त्वरित आदान-प्रदान पर सहमति जताई। इस दौरान जेल से छूटकर आए हुए नक्सलियों व उनके परिवार को विकास की मुख्य धारा से जोड़ने पर भी चर्चा की गई। सभी विभागों में समन्वय व सूचनाओं के त्वरित आदान-प्रदान व एक्शन लेने का निर्णय लिया गया।
एएसपी अनिल कुमार ने कहा कि कांबिंग के समय जंगलों में रह रहे ग्रामीणों के साथ समन्वय स्थापित कर उन्हें जागरूक भी किया जाए। कोई भी संदिग्ध वस्तु या संदिग्ध व्यक्ति नजर आए तो तुरंत उन्हें पुलिस के सरकारी नंबरों पर सूचना देने के लिए प्रेरित करें। सूचना देने वाले का नाम गुप्त रखा जाएगा। और पुलिस के खुफिया तंत्र को और मजबूत किया जाए जिससे और भी सूचनाएं आदान प्रदान करने में किसी प्रकार की कोई कमी ना हो।
इस बैठक में सीओ आपरेशन कृष्णमुरारी शर्मा, नक्सल सेल सोनभद्र के विष्णु यादव, एडिशनल एसपी पीएससी148 बटालियन अलका सिंह, एसएचओ मिर्जापुर सुविन्द्र थाना प्रभारी नौगढ जितेंद्र बहादुर सिंह, एस आई नक्सल यूनिट मिर्जापुर दीनानाथ सरोज, एस आई नक्सल सोनभद्र रामबदन यादव, एस आई नक्सल यूनिट चंदौली पवन कुमार तिवारी, एलआईयू, सहित अन्य विभागों के अधिकारी मौजूद थे।