अब नहीं चलेगी ठेकेदारों की मनमानी, IIT BHU के एक्सपर्ट करेंगे स्कूलों में होने वाले निर्माण की क्वालिटी की जांच
IIT BHU के इंजीनियर करेंगे वाराणसी मंडल के सभी स्कूलों की जांच
जिलों के माध्यमिक विद्यालयों में हो रहे निर्माण कार्यों की जांच
काम की क्वालिटी जांचने के लिए कमिश्नर साहब ने लिया फैसला
चंदौली जिले सहित वाराणसी मंडल के सभी जिलों के माध्यमिक विद्यालयों में कराए जा रहे निर्माण कार्यों की जांच अब आईआईटी बीएचयू के इंजीनियर करेंगे। शासन ने भवन, लैब, कक्षा और अन्य निर्माण कार्यों में सरकारी धन की हेराफेरी पर अंकुश लगाने के लिए निर्माण कार्यों के थर्ड पार्टी मूल्यांकन का आदेश दिया है। इसके लिए मंडल स्तर पर आईआईटी बीएचयू को जांच एजेंसी के रूप में नामित किया गया है।
आपको बता दें कि आईआईटी के इंजीनियर वाराणसी के अलावा जौनपुर, गाजीपुर और चंदौली जिलों के माध्यमिक विद्यालयों में कराए जाने वाले निर्माण कार्यों का मूल्यांकन कर काम की गुणवत्ता उजागर करेंगे। माध्यमिक विद्यालयों में अक्सर भवन निर्माण और जीर्णोद्धार के कार्य चलते रहते हैं। इन पर माध्यमिक शिक्षा परिषद मोटी रकम खर्च करता है। मगर, कई बार कार्यदायी संस्थाओं के कार्य की गुणवत्ता में कमी के चलते भवन समय से पहले जर्जर हो जाते हैं और उनके दोबारा निर्माण की जरूरत पड़ जाती है। ऐसे में धन की बर्बादी होती है। इस पर शासन ने गंभीरता दिखाई है।
प्रदेश के अपर मुख्य सचिव दीपक कुमार ने संयुक्त निदेशक माध्यमिक शिक्षा को पत्र लिखकर मंडलीय स्तर पर माध्यमिक विद्यालयों में होने वाले निर्माण कार्यों का थर्ड पार्टी मूल्यांकन कराने का निर्देश दिया है। यह पत्र डीआईओएस कार्यालय तक पहुंच गया है।
वाराणसी मंडल के राजकीय माध्यमिक विद्यालयों में चल रहे निर्माण कार्यों की गुणवत्ता की जांच के लिए आईआईटी बीएचयू को नामित किया गया है। सिविल इंजीनियरों का पैनल ईंट, सीमेंट, कंक्रीट, प्लास्टर, चिनाई सामग्री, बिटूमिन, गिट्टी की सैंपलिंग कर प्रयोगशालाओं में जांच कराएगा। साथ ही निर्माण की गुणवत्ता की जांच कर रिपोर्ट देगा कि निर्माण मानक के अनुरूप है या नहीं।
इस संबंध में वाराणसी के डीआईओएस अवध किशोर सिंह ने बताया कि माध्यमिक विद्यालयों के निर्माण कार्यों के मूल्यांकन के लिए आईआईटी बीएचयू को नामित किया गया है। 10 लाख रुपये या उससे अधिक लागत वाले निर्माण कार्यों की थर्ड पार्टी जांच कराई जाएगी, जबकि उससे कम लागत वाले कार्यों की रैंडम जांच कराई जाएगी।
वही इस संबंध में बीएचयू आईआईटी की संयुक्त सचिव डॉ स्वामी विश्वास ने बताया कि माध्यमिक विद्यालयों में चल रहे निर्माण कार्यों की जांच के लिए आईआईटी को कहा गया है। संस्थान के इंजीनियरों का पैनल इस तरह के कार्यों का मूल्यांकन समय-समय पर करता रहता है।