वाराणसी में आए नए DIG ओम प्रकाश सिंह, अखिलेश चौरसिया बनाए गए एंटी करप्शन के DIG
 

ओपी सिंह को 2017 में प्रधानमंत्री अवार्ड, 2019 में डीजी डिस्क सिल्वर मेडल, 2021 में डीजी डिस्क गोल्ड मेडल मिला है।आईपीएस प्रोन्नति के बाद झांसी जीआरपी अनुभाग के पुलिस अधीक्षक रेलवे से एसपी ललितपुर बनाए गए।
 

देर रात जारी की गयी तबादला सूची

प्रमोशन के बाद  DIG बने हैं ओम प्रकाश सिंह

अखिलेश चौरसिया को भेजा गया  एंटी करप्शन में

उत्तर प्रदेश सरकार ने  शुक्रवार को कई आईपीएस अधिकारियों की तैनाती में फेरबदल किया. डॉ ओम प्रकाश सिंह को वाराणसी परिक्षेत्र का उप महानिरीक्षक बनाया गया। इसमें गाजीपुर चंदौली जौनपुर जिले शामिल है। जिसमें तमाम चुनौतियां ने नए वाले डीआईजी का इंतजार करेंगी। वहीं वाराणसी के DIG अखिलेश कुमार चौरसिया को भ्रष्टाचार निवारण संगठन में नयी तैनाती दी गई।


प्रमोशन के बाद मिला चार्ज
बताया जा रहा है कि सिविल सर्विसेज की तैयारी के बीच 1990 बैच के पीपीएस अफसर डा. ओमप्रकाश सिंह मूलतः बहराइच जिले के निवासी हैं। इलाहाबाद विश्वविद्यालय से दर्शनशास्त्र में स्नातक व पीएचडी से अलंकृत डॉ. ओपी सिंह 2018 के आईपीएस अधिकारी हैं।

आपको बता दें कि ओपी सिंह को 2017 में प्रधानमंत्री अवार्ड, 2019 में डीजी डिस्क सिल्वर मेडल, 2021 में डीजी डिस्क गोल्ड मेडल मिला है।आईपीएस प्रोन्नति के बाद झांसी जीआरपी अनुभाग के पुलिस अधीक्षक रेलवे से एसपी ललितपुर बनाए गए। ललितपुर में एसपी के पद से पदोन्नति होकर  नवंबर 2018 को झांसी के वरिष्ठ पुलिस अधीक्षक पद का कार्यभार दिया गया था। इसके बाद गाजीपुर में बतौर एसपी तैनात रहे, जहां से बदायूं जिले के लिए तबादला साल 2021 में हुआ था।

डॉ. ओपी सिंह अब तक बहराइच, इलाहाबाद, कानपुर नगर, बरेली, मेरठ, हापुड़, गौतमबुद नगर, सीतापुर, फिरोजाबाद, फैजाबाद, बाराबंकी, नोएडा, गाजियाबाद आदि जिलों में अपनी सेवाएं दे चुके हैं।

 नए डीआईजी को चंदौली में भी मिलेंगी चुनौतियां
चंदौली के नक्सल प्रभावित इलाके में नक्सली गतिविधियों को पनपने नहीं देना भी चुनौती पूर्ण होगा। वहीं सीमा पर बिहार में शराब और पशुओं की तस्करी रोकने के लिए प्रभावी कदम उठाने होंगे। साथ ही जिले में तैनात कई मठाधीश टाइप के पुलिसकर्मियों पर भी पैनी नजर रखनी होगी, जो तमाम तरह के जुगाड़ से मलाई काट रहे हैं।