परिषदीय स्कूलों में दिव्यांग बच्चियों के प्रवेश पर अब मिलेंगे दो हजार
10 माह तक छात्रा या उसके अभिभावक को मिलेंगे पैसे
सीधे खाते में पहुंचेंगे दो-दो सौ रुपये
शर्त यह कि 40 प्रतिशत दिव्यांगों के लिए योजना
ऐसे लोगों को देना होगा दिव्यांगता प्रमाण-पत्र
चंदौली जिले में दिव्यांग बच्चियों के लिए यह अच्छी खबर है। परिषदीय विद्यालयों में प्रवेश लेने पर अब उन्हें दो हजार रुपये प्रोत्साहन राशि मिलेगी। शर्त यह कि 40 प्रतिशत दिव्यांग और दिव्यांगता प्रमाण-पत्र होना चाहिए। प्रोत्साहन धनराशि उसे 10 महीने में दी जाएगी। दिव्यांग बालिकाओं को शिक्षा से जोड़ने के लिए समेकित शिक्षा के तहत शिक्षा विभाग ने यह निर्णय लिया है। बीएसए ने स्कूलों में पंजीकृत 40 प्रतिशत दिव्यांग छात्र-छात्राओं का विवरण यू डाइस पोर्टल पर अपलोड करने के निर्देश दिए हैं।
आपको बता दें कि दरअसल, बालिका शिक्षा के प्रति विभाग पूरी तरह से सक्रिय है। विशेषकर दिव्यांग बालिकाओं की मदद पर ध्यान दिया जा रहा। दिव्यांग छात्राओं के स्कूल में पंजीकरण कराने पर उन्हें 200 रुपये प्रतिमाह की दर से मिलेंगे।
बताते चलें कि जनपद के 1185 प्राथमिक, उच्च प्राथमिक व कंपोजिट के अलावा दस कस्तूरबा गांधी आवासीय विद्यालयों में 89 हजार 987 बालिकाएं शिक्षा ग्रहण कर रहीं हैं। समेकित शिक्षा के तहत जिले में हुए सर्वे में एक हजार चार सौ 67 दिव्यांग बच्चे मिले हैं। इनमें बालिकाएं भी हैं। इनके प्रवेश लेने पर प्रोत्साहन राशि दी जाएगी। धनराशि छात्रा के खाते में भेजी जाएगी योजना में किसी प्रकार की अनियमितता न हो सके, इसलिए विभाग ने पात्र छात्राओं को दी जाने वाली धनराशि डीबीटी के माध्यम से छात्रा या उसके अभिभावक के खाते में भेजने का निर्णय लिया गया है। छात्रा और उसके अभिभावक के बैंक खाता का विवरण भी प्रधानाध्यापक को पोर्टल पर अपलोड करना होगा।
बेसिक शिक्षा अधिकारी सत्येंद्र सिंह बोले-
इस संबंध में चंदौली जिले के जिला बेसिक शिक्षा अधिकारी सत्येंद्र सिंह ने बताया कि विभाग की यह पहल दिव्यांग बच्चियों को शिक्षा से जोड़ने के लिए की गई है। सभी खंड शिक्षा अधिकारियों को निर्देश दिए गए हैं कि वह अपने क्षेत्र की दिव्यांग छात्राओं का प्रवेश स्कूलों में कराना सुनिश्चित करें। साथ ही 40 प्रतिशत दिव्यांगता वाली छात्रा से उसके प्रमाण-पत्र के अनुसार प्रोत्साहन राशि के लिए फीडिंग कराएं।