एम्बुलेंस टीम ने पेश की मदद की मिसाल, गाड़ी में ही करायी महिला की डिलीवरी
अस्पताल के रास्ते में गूंजी किलकारी
102 एम्बुलेंस कर्मियों ने दिखाई सूझबूझ
प्रसव पीड़ित महिला और शिशु की बचाई जान
एम्बुलेंस में सफल डिलीवरी कराई गई
चंदौली जिले के चकिया तहसील क्षेत्र में 102 एम्बुलेंस टीम ने समय रहते अपनी सक्रियता और उत्कृष्ट कौशल का प्रदर्शन करते हुए एक प्रसव पीड़ित महिला की जान बचाकर एक सराहनीय मिसाल पेश की है। शनिवार की सुबह एम्बुलेंस में तैनात इमरजेंसी मेडिकल टेक्नीशियन (ईएमटी) रजनीकांत और पायलट संदीप यादव की सूझबूझ और त्वरित कार्रवाई से न केवल महिला को सुरक्षित प्राथमिक उपचार मिला, बल्कि एम्बुलेंस में ही सुरक्षित बच्चे का जन्म हुआ, जिससे रास्ते में किलकारी गूंज उठी।
समय पर पहुँची टीम तो हुयी मदद
घटना शहाबगंज विकासखंड के ढोढ़नपुर गांव की है। सुबह अचानक गांव की एक गर्भवती महिला को तेज प्रसव पीड़ा शुरू हुई, जिससे परिजन घबरा गए और तत्काल 102 एम्बुलेंस को सूचना दी। सूचना मिलते ही एम्बुलेंस टीम ने बिना किसी देरी के मौके पर पहुँचकर गर्भवती महिला को तत्काल उठाया और चकिया स्थित जिला संयुक्त चिकित्सालय के लिए रवाना हुई।
सूझबूझ से एम्बुलेंस में ही कराया सुरक्षित प्रसव
अस्पताल पहुँचने से पहले ही रास्ते में महिला की प्रसव वेदना अत्यधिक तेज हो गई और स्थिति गंभीर होने लगी। ऐसे आपातकाल की स्थिति को भाँपते हुए, ईएमटी रजनीकांत ने घबराने के बजाय अपनी सूझबूझ और प्रशिक्षण का परिचय दिया। उन्होंने तत्काल एम्बुलेंस में ही सुरक्षित प्रसव कराने की प्रक्रिया शुरू की और पायलट संदीप यादव के सहयोग से सफलतापूर्वक प्रसव कराया। इस कुशल कार्यवाही के चलते माँ और नवजात शिशु दोनों सुरक्षित रहे और एम्बुलेंस में ही किलकारी गूंज उठी।
जच्चा-बच्चा स्वस्थ, हुई चौतरफा सराहना
बच्चे के सुरक्षित जन्म के बाद, एम्बुलेंस टीम ने माँ और नवजात शिशु दोनों को तत्परता से जिला संयुक्त चिकित्सालय पहुँचाया और उन्हें भर्ती कराया। डॉक्टरों द्वारा प्राथमिक उपचार दिए जाने के बाद, जच्चा-बच्चा दोनों को स्वस्थ घोषित करते हुए उन्हें अस्पताल से छुट्टी दे दी गई।
इस त्वरित और सफल कार्रवाई के लिए स्थानीय लोगों के साथ-साथ स्वास्थ्य विभाग के अधिकारियों ने भी 102 एम्बुलेंस टीम की उत्कृष्ट सेवा और कर्तव्यनिष्ठा की हृदय से सराहना की। लोगों ने कहा कि टीम ने अपने कर्तव्य के प्रति समर्पण दिखाते हुए न सिर्फ एक जान बचाई, बल्कि मानवीयता की एक उच्च मिसाल भी कायम की है, जो दूसरों के लिए प्रेरणास्रोत है।