जिला अस्पताल में गंदगी व जल जमाव से परेशान मरीज, मजबूरी में प्राइवेट अस्पतालों में करा रहे इलाज

राज्यसभा सांसद दर्शना सिंह की डांट फटकार को कोई असर नहीं
डीएम के दौरे के बाद भी नहीं सुधर पाया जिला अस्पताल
आज भी गंदगी और जल जमाव है मौजूद
मरीजों को अस्पताल में नहीं मिल पा रहे हैं बेड
चंदौली जिला अस्पताल में आए दिन डायरिया व मलेरिया से परेशान मरीज सरकारी अस्पताल का सहारा ले रहे हैं, जहां पर अस्पताल में जाते ही गंदगी और जल जमाव की स्थिति को देखते हुए मरीजों की स्थिति और भी बिगड़ रही है। वहीं पर मरीजों का कहना है कि अस्पताल में पर्याप्त व्यवस्था नहीं होने के कारण हम लोगों को मरीजों को प्राइवेट अस्पतालों में यहां से रेफर करवाना पड़ रहा है।

इस संबंध में चंदौली समाचार से बातचीत में एक मरीज गार्जियन नीतीश उपाध्याय ने बताया कि वह अपने गांव डबरिया पैगापर से कल रात में अपने मरीज रविकांत उपाध्याय को धानापुर से रेफर करा करके चंदौली जिला अस्पताल ले आये थे। यहां पर उस समय कोई बेड उपलब्ध नहीं था। डॉक्टर बेड देने से इंकार कर दिए। काफी बोलने पर रात में 12 बजे किसी तरह गलियारे में जगह दिया गया। रात में कोई मरीज के पास उपचार को भी नहीं आया। यहां पर वार्ड में पानी भरा हुआ है। न कोई साफ सफाई न कोई इसका जिम्मेदार है।
एक तरफ जहां सरकार के द्वारा डायरिया और मलेरिया से पीड़ित मरीज का जिला अस्पताल में अच्छे से इलाज के लिए कहा जा रहा है। वहीं पर यहां के मौजूद कर्मचारियों व डॉक्टरों की लापरवाही के द्वारा मरीजों को और भी ज्यादा गंदगी और इस बदबू भर पानी से अधिक परेशानियों का सामना करना पड़ रहा है।

आखिर विरोधियों के धरना, भाजपा सांसद व चंदौली डीएम के दौरे के बाद भी जिला अस्पताल में कोई सुधार होने की उम्मीद नहीं दिख रही है।
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