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क्या आपको भी आते हैं शिव जी से जुड़े ये सपने ? जानें क्या है इन सपनों का मतलब

हम सभी सोते समय सपने देखते हैं। इन सपनों को जीवन में होने वाली शुभ-अशुभ घटनाओं से जोड़ा जाता है। माना जाता है कि अगर आपके जीवन में कुछ अच्छा होने वाला होता है
 

भोलेनाथ के सपनों से बदल सकती है किस्मत

जानिए क्या कहता है स्वप्न शास्त्र

शुभ-अशुभ घटनाओं से जुड़ता है रिश्ता

हम सभी सोते समय सपने देखते हैं। इन सपनों को जीवन में होने वाली शुभ-अशुभ घटनाओं से जोड़ा जाता है। माना जाता है कि अगर आपके जीवन में कुछ अच्छा होने वाला होता है, तो सपनों के माध्यम से उसका आभास होने लगता है। वहीं कुछ सपने अशुभ घटनाओं की ओर भी इशारा करते हैं। इन सभी सपनों के अर्थ का उल्लेख स्वप्न शास्त्र में होता है। इसके आधार पर उस सपने का जीवन पर क्या प्रभाव होगा, यह ज्ञात होता है।


मान्यता है कि जिन जातकों पर महादेव की कृपा होती है, उसके सभी बिगड़े काम बने लगते हैं। साथ ही मन से सभी डर भय भी दूर होते हैं। यही नहीं शंकर जी से जुड़ी चीजों को देखना भी लाभदायक होता है। इन सपनों को सुख-समृद्धि से जोड़ा जाता है। लेकिन महादेव को अलग-अलग रूपों और स्थितियों में देखना अलग महत्व रखता है। आइए इन सभी के बारे में जान लेते हैं।


सपने में भगवान शिव को देखना


धार्मिक मान्यताओं के अनुसार यदि आप शिव जी को सपने में देखते हैं, तो ये बेहद खास होता है। इसका अर्थ है कि जीवन से सभी परेशानियां जल्द ही दूर होने वाली हैं। साथ ही इसे महादेव के प्रसन्न होने का संकेत भी माना जा सकता है। वहीं अगर आप भोलेनाथ को सपने में नृत्य करते हुए देखते हैं, तो ये धन लाभ का संकेत होता है।


शिव और पार्वती जी को साथ में देखना


सावन माह में महादेव और देवी पार्वती की पूजा करना लाभदायक होता है। ऐसे में उनकी जोड़ी को सपने में देखना शुभ होता है। माना जाता है कि इसे वैवाहिक जीवन में सकारात्मक बदलाव का संकेत माना जाता है। यही नहीं प्रेम संबंधों में अच्छे बदलाव आ सकते हैं।


शिवलिंग देखना


सावन में महादेव की पूजा शिवलिंग के अभिषेक बिना अधूरी मानी जाती है। ऐसे में शिवलिंग को ही सपने में देखना शुभ होता है। इसका अर्थ है कि जीवन से सभी परेशानियों का निवारण होने वाला है, और धन लाभ होगा। इसके अलावा इसे उन्नति का संकेत भी माना जाता है।

शिव जी का त्रिशूल


सावन माह में अगर आप त्रिशूल को सपने में देखते हैं, तो इसका अर्थ भूत, वर्तमान और भविष्य से जोड़ा जाता है। माना जाता है कि ये कष्ट से मुक्ति का संकेत है।


भोलेनाथ को नंदी पर सवार देखना


मान्यताओं के अनुसार शिव जी को नंदी पर सवार होते हुए सपने में देखा जाए, तो यह अच्छे बदलाव का संकेत होता है। साथ ही यात्रा पर जाने के योग से भी इसे जोड़ा जा सकता है।

भगवान शिव का तीसरा नेत्र


अगर शिव जी को सपने में तीसरे नेत्र के साथ देखा जाए, तो इसे सतर्कता और जागरूकता से जोड़ा जाता है। आपको कार्यों में सावधानी बरतने की आवश्यकता है। इसके अलावा अगर शिव के डमरू को सपने में देखा जाए, तो इसका अर्थ है कि व्यावसायिक जीवन में ऊर्जा का सकारात्मक प्रवाह होने वाला है।

                                                                                                 
 

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