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नागपंचमी पर करेंगे ये खास उपाय तो चमकेगा भाग्य, भूल से भी न करें ये काम वरना नाग देवता होंगे नाराज

सावन का महीना भगवान शिव को प्रिय है और नाग देवता तो भोलेनाथ के गले में ही विराजते हैं तो इस दिन नाग देवता के साथ ही महादेव की भी पूजा होती है। 

 

नागपंचमी का ये पावन पर्व सावन महीने के शुक्ल पक्ष की पंचमी को मनाया जाता है। सावन का महीना भगवान शिव को प्रिय है और नाग देवता तो भोलेनाथ के गले में ही विराजते हैं तो इस दिन नाग देवता के साथ ही महादेव की भी पूजा होती है। इस साल नागपंचमी का त्यौहार 13 अगस्त शुक्रवार को मनाया जाएगा और इसी दिन होगी नागों की पूजा।

हमारे हिंदू धर्म में प्रकृति तत्वों जैसे कि पेड़-पौधों व पशु-पक्षियों को भी पूजा जाता है और उन्हें किसी तरह का कोई नुकसान न हो इस बात पर विशेष ध्यान दिया जाता है। हमारी भारतीय संस्कृति खास तौर पर 'जियो और जीने दो' पर अमल करती है तभी तो हमारे यहां पेड़ पौधों के साथ ही पशुओं को भी पूजा जाता है। ऐसा ही एक त्यौहार है नागपंचमी का जब हम नाग देवता की पूजा करते हैं और उनके दर्शन से खुद को धन्य मानते हैं।  

नागपंचमी का ये पावन पर्व सावन महीने के शुक्ल पक्ष की पंचमी को मनाया जाता है। सावन का महीना भगवान शिव को प्रिय है और नाग देवता तो भोलेनाथ के गले में ही विराजते हैं तो इस दिन नाग देवता के साथ ही महादेव की भी पूजा होती है। इस साल नागपंचमी का त्यौहार 13 अगस्त शुक्रवार को मनाया जाएगा और इसी दिन होगी नागों की पूजा।


नागपंचमी पूजा के लाभ 

माना जाता है कि नागपंचमी पर नाग देवता की पूजा करने से घर में सुख-शांति रहती है, धन-धान्य से भंडार भर जाते हैं वहीं सर्प भय से भी हमें मुक्ति मिलती है। इतना ही नहीं फसल भी अच्छी होती है। नागपंचमी पर नाग देवता की पूजा संतान प्राप्ति के लिए भी की जाती है और माना जाता है कि सर्पों की पूजा से वंश बढ़ता है।   

इसलिए होती है नागपंचमी पर नागों की पूजा 

लिंग पुराण के अनुसार सृष्टि के सृजन के लिए जब ब्रह्माजी ने घोर तपस्या की तो एक बार वो हताश होने लगे और उनके आंसू पृथ्वी पर गिर गए और तत्काल ही वो सर्प के रूप में उत्पन्न हो गए। इन सर्पों पर कोई अत्याचार न हो ऐसा विचार कर भगवान सूर्यदेव ने इन्हें पंचमी तिथि का अधिकारी बना दिया। तभी से पंचमी तिथि पर नागों की पूजा करने का विधान है। 

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नागपंचमी पर करें ये खास उपाय 

नागपंचमी पर जहां नागों की पूजा होती है वहीं इस दिन कई ऐसे उपाय भी किये जाते हैं जिससे नाग देवता प्रसन्न होते हैं और हमें मनचाहा वरदान देते हैं। 

तो आइये यहां जानते हैं कि नागपंचमी पर कौन से उपाय करने चाहिए ....

-नागपंचमी की पूजा अवश्य करें क्योंकि ऐसा करने से परिवार की रक्षा होती है साथ ही धन-धान्य का वरदान भी प्राप्त होता है। 

-नाग देवता की पूजा से वंशवृद्धि में आ रही रुकावट दूर होती है। संतान प्राप्ति के इच्छुक दंपति को नाग देवता की पूजा जरूर करनी चाहिए।

- नाग पंचमी के दिन चांदी के नाग-नागिन का जोड़ा बनवाकर शंकर जी के मंदिर में या नाग देवता के मंदिर में चढ़ाने से कुण्डली से सर्प दोष तो दूर ही होता है, साथ ही धन लाभ भी होता है।

- नाग पंचमी के दिन चांदी के नाग-नागिन और स्वास्तिक का पूजन करें। नाग-नागिन के जोड़े को दूध चढ़ाएं और स्वास्तिक पर बेल पत्र अर्पित कर ऊं नागेन्द्रहाराय नमः मंत्र का जाप करें। इन अभिमंत्रित नाग-नागिन के जोड़े को भगवान शिव को अर्पित कर दें और स्वास्तिक को गले में धारण करें। ऐसा करने से सर्प भय से मुक्ति मिलती है।

- जिस व्यक्ति की कुण्डली में राहु-केतु की महादशा के कारण बने हुए काम बिगड़ रहे हों।उन्हें इस नाग पंचमी पर चांदी या पंच धातु के नाग-नागिन का जोड़ा शिवलिंग पर चढ़ाना चाहिए।

- नाग पंचमी के दिन घर के मुख्य द्वार पर गोबर या मिट्टी से नाग देवता की आकृति बना कर उनका पूजन करें और इस मंत्र का जाप करना चाहिए। ऐसा करने से नाग देवता प्रसन्न होते हैं और सर्प दोष, सर्प भय से मुक्ति प्रदान करते हैं और घर में समृद्धि का आगमन होता है।

।ॐ नवकुलाय विद्महे, विषदन्ताय धीमहि तन्नो सर्प प्रचोदयात।।

- नाग पंचमी के दिन भगवान शिव के वासुकी नाग और भगवान विष्णु के शेषनाग का पूजन करने से भी सभी संकट दूर होते हैं और घर में धन-धान्य की वर्षा होती है।

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नागपंचमी पर मनोकामना अनुसार करें शिव का रुद्राभिषेक 

सावन के महीने में वैसे तो भगवान शिव की पूजा होती ही है पर नागपंचमी के दिन तो नागदेवता के साथ ही भोलेनाथ की भी विशेष पूजा की जाती है। साथ ही इस दिन अपनी मनोकामना के हिसाब से महादेव का अलग-अलग चीजों से रुद्राभिषेक करके भी आप मनचाहा फल प्राप्त कर सकते हैं। 

-अगर आपको संतान प्राप्ति की कामना है तो इस दिन दूध से रुद्राभिषेक करें और उनसे तेजस्वी संतान की कामना करें।

- अगर आपके कार्यों में बार-बार विघ्न पड़ रहा है, रुकावटें आ रही हैं तो आपको दही से महादेव का अभिषेक करना चाहिए। ऐसा करने से आपके सारे विघ्न दूर हो जाएंगे।

- वहीं अगर आपके जीवन में हमेशा तनाव बना रहता है तो इसे दूर करने के लिए आप इत्र से शिवजी का अभिषेक करें। इससे आपका मन शांत होगा और तनाव कम होने लगेगा।

- यदि आपके घर में कोई गंभीर रोग से पीड़ित है तो आपको घी से महादेव का अभिषेक करना चाहिए और परिवार को निरोग बनाने की कामना करनी चाहिए।

- जो लोग मोक्ष की कामना रखते हैं, उन्हें गंगाजल से रुद्राभिषेक करना चाहिए। ऐसा करने से जीवन में सारे सुख प्राप्त करने के बाद व्यक्ति मोक्ष के मार्ग की ओर अग्रसर हो जाता है।

- कोई खास मनोकामना पूरी होते देखना चाहते हैं तो पंचामृत से महादेव का अभिषेक करें और उनसे मनोकामना पूर्ति की प्रार्थना करें।

- शत्रु ज्यादा बढ़ चुके हैं तो उनके अंत के लिए सरसों के तेल से रुद्राभिषेक करें।

- आर्थिक संकट से उबरने के लिए और कर्ज से मुक्ति के लिए गन्ने के रस से महादेव का अभिषेक करें।

-जीवन में पुण्य अर्जित करने के लिए आप जल से महादेव का अभिषेक करें। 

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नागपंचमी पर न करें ये काम 

-भूल से भी इस दिन नागों को परेशान न करें बल्कि इस दिन नागों के संरक्षण का संकल्प लें। 

-शास्त्रों में नागपंचमी के दिन भूमि की खुदाई करने को मना किया गया है। ऐसा करनें सें मिट्टी या जमीन में सांपों के बिल या बांबी के टूटने का डर रहता है।

- नागपंचमी के दिन साग नहीं काटना चाहिए। सावन के महीनें में साग और पत्तेदार सब्जियों में कृमी या कीड़े पड़ जाते हैं इसलिए सावन में साग नहीं खाना चाहिए।

- नाग पंचमी के दिन खेत की जुताई करना या हल नहीं चलाना चाहिए। ऐसा करने से सांप के मरने का डर होता है।

- नाग पंचमी के दिन लोहे की कड़ाही और तवे में भोजन नहीं बनाना चाहिए।

- नागपंचमी पर नागों को दूध से नहलाने का विधान है न कि दूध पिलाने का। वैज्ञानिक शोध से सिद्ध हो चुका है कि नाग और सर्पों में दूध पचाने की ग्रंथि नहीं होती है इसलिए दूध नागों के लिए हानिकारक होता है।

-लोकमान्यता के अनुसार इस दिन सुई में धागा डालना, कैंची चलाना या चाकू से सब्जी काटने का काम नहीं करना चाहिए।


 

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