आखिर कब बनेगी सर्विस लेन, कौन है इस काम में रोड़ा अटकाने वाला..?
DM साहब इन तीनों मौत का कौन है जिम्मेदार
पचफेड़वा में 400 मीटर अधूरी सर्विस रोड के कारण अक्सर होते हैं हादसे
पिछले 13 वर्षों में करीब 500 से अधिक लोगों की मौत
चंदौली जिले के अलीनगर थाना क्षेत्र के पचफेड़वा के पास 28 अक्टूबर को दो महिलाओं और एक बच्चे की दर्दनाक मौत के मामले में ग्रामीणों ने जिलाधिकारी व नेशनल हाईवे के पीडी अधिकारी पर गंभीर आरोप लगाए हैं। ग्रामीणों का कहना है कि लापरवाही और सड़क पर सुरक्षा इंतजाम न होने के कारण यह हादसा हुआ, जिससे तीनों की जान चली गई। जबकि हर महीने जिले के जिलाधिकारी व मुख्य विकास अधिकारी सड़क सुरक्षा के नाम पर खानापूर्ति वाली मीटिंग किया करते हैं।

आपको बता दें कि मंगलवार की सुबह करीब 5 बजे भोर में अनियंत्रित ट्रक की चपेट में आने से रेवसा गांव निवासी सुखराम की पत्नी कुमारी देवी (52) बहु चांदनी (27) पोता सौरभ कुमार (7) के साथ भोर में मेघा बाबा का दर्शन कर जैसे ही नेशनल हाईवे किनारे से छठ के लिए आलमपुर पोखर के पास जाने लगी कि अचानक वाराणसी की ओर से आ रहे अनियंत्रित ट्रक ने कुचलते हुए मंदिर को क्षतिग्रस्त कर दिया, साथ में एक मोटरसाइकिल और गुमटी को भी क्षतिग्रस्त करते हुए अंधेरा का फायदा उठाकर ट्रक सहित चालक भाग निकला. आसपास के लोगों ने तत्काल इसकी सूचना पुलिस को दी. मौके पर पहुंची पुलिस ने तीनों शव को कब्जे में लेकर पोस्टमार्टम के लिए जिला चिकित्सालय भेज दिया था।

पचफेड़वा में सर्विस रोड न होने से दर्जनों लोगों की जा चुकी है जान
ग्रामीण संतोष यादव ने बताया कि 400 मीटर की सर्विस रोड 2012 से अधूरी पड़ी है। 13 वर्ष बीत जाने के बावजूद यह परियोजना पूरी नहीं हो पाई, जिससे आए दिन हादसे होते रहते हैं। उन्होंने बताया कि इस समस्या की जानकारी जिलाधिकारी, पीडी अधिकारी और सांसद तक को दी गई थी। कार्य शुरू होने पर नेशनल हाईवे की संस्था ने काली मंदिर और मेघा मंदिर हटाने की कोशिश की, जिसका ग्रामीणों ने नवरात्र के चलते विरोध किया। तय हुआ था कि नवरात्र के बाद मंदिर शिफ्ट किए जाएंगे, लेकिन दीपावली और छठ बीत जाने के बाद भी कार्य नहीं हुआ। संतोष यादव ने कहा कि इसी लापरवाही के कारण तीन निर्दोष लोगों की मौत हुई। उन्होंने आरोप लगाया कि पीडी अधिकारी और जिलाधिकारी ने न तो सांसद की बात मानी और न ही विधायक प्रभु नारायण सिंह की, जिन्होंने दिशा बैठक में इस मुद्दे पर नाराजगी भी जताई थी।

13 वर्षों में करीब 1000 लोगों की मौत
ग्रामीण पंकज कुमार ने बताया कि 400 मीटर अधूरी सर्विस रोड के कारण पिछले 13 वर्षों में करीब 500 से अधिक लोगों की मौत हो चुकी है। जहां हादसे हुए, वहां तीन स्कूल हैं, जिनमें हजारों बच्चे पढ़ते हैं। अभिभावक रोज अपने काम छोड़कर बच्चों की सुरक्षा में लगे रहते हैं। उन्होंने आरोप लगाया कि अधिकारी पूरी तरह लापरवाह हैं, कान में तेल डालकर कुंभकरण की नींद में सोए हुए हैं, जिससे हादसे लगातार बढ़ते जा रहे हैं।

सत्ताधारीधारी दल के नेता पर रोड़ा डालने का आरोप
ग्रामीणों के आरोप है कि एक बीजेपी के बड़े सत्ताधारी नेता के विद्यालय की वजह से सर्विस रोड का काम आज भी अंधर में लटका पड़ा है, जिसके कारण आए दिन दुर्घटनाएं होती है। इसके पहले आधा दर्जन लोगों की सड़क दुर्घटना में मौत चुकी है। इस बारे में कई बार डीएम चंदौली को पत्र भी दिया जा चुका है, लेकिन इसके बावजूद आज तक सर्विस रोड नहीं बन सकी।

NHAI से बात करेंगे SDM साहब
इस संबंध में पीडीडीयू नगर एसडीएम अनुपम मिश्रा ने बताया कि मामला मेरे संज्ञान में नहीं था। पीडी अधिकारी से बात कर जानकारी ली जाएगी कि नेशनल हाईवे की 400 मीटर सर्विस रोड अब तक क्यों नहीं बनी और इसके पीछे क्या वजह रही।
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