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मिशन शक्ति पर जिला स्तरीय कांफ्रेंस, जनप्रतिनिधियों और अधिकारियों ने ऐसे लिया संकल्प

क्षेत्राधिकारी (CO) सकलडीहा, श्रीमती स्नेहा तिवारी ने अपने संबोधन में महिला सुरक्षा को पुलिस का प्राथमिक कर्तव्य बताया।
 

चंदौली जिले में जारी है मिशन शक्ति का अभियान

ITI रेवसा में 'शक्ति संवाद' का भव्य आयोजन

महिलाओं की सुरक्षा और स्वावलंबन पर जोर

अधिकारियों व विधायकों ने की शिरकत

चंदौली जिले में महिलाओं को सुरक्षा, सम्मान और स्वावलंबन के प्रति जागरूक करने के उद्देश्य से उत्तर प्रदेश सरकार के महत्वाकांक्षी 'मिशन शक्ति' (फेज-5.0) अभियान के तहत एक भव्य 'शक्ति संवाद कार्यक्रम' का आयोजन किया गया। यह जनपद स्तरीय कांफ्रेंस आज राजकीय औद्योगिक प्रशिक्षण संस्थान (ITI) रेवसा, अलीनगर में आयोजित की गई।

कार्यक्रम का मुख्य लक्ष्य जिले की महिलाओं और बालिकाओं को न केवल उनके कानूनी अधिकारों के प्रति जागरूक करना था, बल्कि उन्हें आत्मरक्षा और सरकारी सहायता सेवाओं के उपयोग के लिए भी प्रेरित करना था।

आत्मरक्षा, अधिकार और हेल्पलाइन पर विशेष चर्चा
ITI रेवसा में आयोजित इस कार्यक्रम में उपस्थित छात्राओं और महिलाओं को कई महत्वपूर्ण विषयों पर विस्तृत जानकारी दी गई, ताकि वे अपनी रक्षा कर सकें और विपरीत परिस्थितियों में सरकार व संबंधित संस्थाओं की मदद ले सकें....

* आत्मरक्षा के उपाय और विषम परिस्थितियों से निपटने के तरीके।

* महिलाओं से संबंधित कानूनी अधिकार और उनका उपयोग।

* साइबर सुरक्षा और डिजिटल दुनिया में सुरक्षित रहने के टिप्स।

* घरेलू हिंसा से बचाव और सहायता प्राप्त करने की प्रक्रिया।

* महिला हेल्पलाइन सेवाओं जैसे 1090 (वूमेन पावर लाइन), 181 (महिला हेल्पलाइन), और 112 (आपातकालीन सेवा) के सही इस्तेमाल की जानकारी।

अधिकारियों ने ज़ोर देकर कहा कि ये हेल्पलाइन नंबर हर महिला के लिए सुरक्षा कवच का काम करते हैं और किसी भी आपात स्थिति में इन्हें याद रखना अत्यंत आवश्यक है।

ज़ीरो टॉलरेंस और महिला-नेतृत्व विकास
कार्यक्रम की संयुक्त अध्यक्षता विधायक सैयदराजा सुशील सिंह और विधायक मुगलसराय  रमेश जायसवाल ने की। जनप्रतिनिधियों ने इस बात पर ज़ोर दिया कि 'मिशन शक्ति' का मूल मंत्र महिलाओं और बालिकाओं को एक सुरक्षित और सम्मानजनक वातावरण प्रदान करना है। उन्होंने स्पष्ट किया कि महिलाओं के खिलाफ अपराधों के प्रति सरकार की नीति ज़ीरो टॉलरेंस (Zero Tolerance) की है और अपराधियों से पूरी सख्ती से निपटा जाएगा।

इसके अलावा, उन्होंने इस अभियान को सरकार की "महिला-नेतृत्व विकास" की प्रतिबद्धता को साकार करने का प्रयास बताया। इसका अर्थ है कि महिलाओं को अब राष्ट्र निर्माण में समान भागीदार बनाया जा रहा है। उन्होंने जन-जागरूकता और अधिकतम जन-सहभागिता पर बल दिया, जिसके लिए ग्राम पंचायत और वार्ड स्तर पर महिला रैलियां और कार्यशालाएं आयोजित की जा रही हैं।

महिला सुरक्षा केवल पुलिस की नहीं, समाज की सामूहिक जिम्मेदारी
क्षेत्राधिकारी (CO) सकलडीहा, श्रीमती स्नेहा तिवारी ने अपने संबोधन में महिला सुरक्षा को पुलिस का प्राथमिक कर्तव्य बताया। उन्होंने कहा कि पुलिस हर थाने की कार्यप्रणाली को महिला अपराधों के लिए संवेदनशील बनाने के लिए प्रतिबद्ध है।

सीओ तिवारी ने कहा-
"प्रत्येक शिकायत को गंभीरता से लिया जाएगा, और यह सुनिश्चित किया जाएगा कि पीड़िता को सम्मान और न्याय मिले। त्वरित और प्रभावी कार्रवाई हमारी नीति है।"

उन्होंने जानकारी दी कि जिले के प्रत्येक थाने पर 'मिशन शक्ति केंद्र' की स्थापना की गई है, जो महिलाओं की सहायता के लिए तत्पर हैं। 

सीओ तिवारी ने समाज से अपील की कि--
"महिला सुरक्षा केवल पुलिस की नहीं, बल्कि पूरे समाज की सामूहिक जिम्मेदारी है। यदि आप कहीं भी छेड़छाड़ या अपराध होता देखें, तो तुरंत रिपोर्ट करें। एक जिम्मेदार नागरिक बनें। जानकारी ही सबसे बड़ा आत्मरक्षा का हथियार है।"

सफल महिलाओं ने किया प्रेरित, बाल विवाह रोकने की शपथ
संवाद कार्यक्रम के दौरान जिले के विभिन्न क्षेत्रों की सफल महिलाओं (रोल मॉडल), जिनमें डॉक्टर, वरिष्ठ शिक्षिकाएं, प्रोफेसर, महिला उद्यमी, आशा कार्यकत्रियां और स्वयं सेवी संस्थाओं की महिलाएं शामिल थीं, को आमंत्रित किया गया। इन महिलाओं ने अपने अनुभव और सुझाव साझा किए, जिससे उपस्थित महिलाओं को प्रेरणा मिली।

बबीता (स्वयं सहायता समूह की कार्यकर्ता) ने बताया कि कौशल विकास से महिलाओं को आर्थिक आत्मनिर्भर बनाया जा रहा है, जबकि मिशन शक्ति से उन्हें कानूनी अधिकार और आत्मविश्वास मिल रहा है।

अपर्णा मालवीय (अध्यापिका, रामकिशन बालिका इंटर कॉलेज) ने कहा कि मिशन शक्ति लैंगिक समानता स्थापित करने की दिशा में एक महत्वपूर्ण पहल है, जिसके बिना समाज का विकास संभव नहीं है।

कार्यक्रम के अंत में, उपस्थित समस्त व्यक्तियों और महिलाओं को बाल विवाह को रोकने के लिए सामूहिक रूप से शपथ दिलाई गई, जो महिलाओं के समग्र विकास के प्रति गंभीरता को दर्शाता है।

इस महत्वपूर्ण कार्यक्रम में जिलाधिकारी चन्द्र मोहन गर्ग, पुलिस अधीक्षक आदित्य लांग्हे के साथ-साथ मुख्य विकास अधिकारी आर जगत सांई, जिला प्रोबेशन अधिकारी प्रभात कुमार और अन्य वरिष्ठ अधिकारी मौजूद रहे।

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