चंदौली धान खरीद का हाल देखने मंडी समिति पहुंचे DM साहब : इन कमियों को देखकर गर्म हो गया पारा, 3 लोगों पर एक्शन
नवीन मंडी में धान खरीद का औचक निरीक्षण
सचिव और केंद्र प्रभारी का वेतन रोका गया
471 किसानों से हुई धान की बड़ी खरीद
धान उठान में लापरवाही पर ठेकेदार पर गाज
गुणवत्ता और पारदर्शिता सुनिश्चित करने के निर्देश
खरीफ विपणन वर्ष 2025-26 के अंतर्गत चंदौली जिले में धान खरीद की प्रक्रिया को पारदर्शी और सुचारु बनाने के लिए जिलाधिकारी चंद्र मोहन गर्ग ने कड़ा रुख अपनाया है। सोमवार को जिलाधिकारी ने नवीन मंडी स्थित विभिन्न धान क्रय केंद्रों का सघन निरीक्षण किया। इस दौरान उन्होंने खाद्य विपणन, पी०सी०यू, यू०पी०एस०एस, मंडी समिति और भारतीय खाद्य निगम (FCI) के कुल 12 केंद्रों की प्रगति जांची। आंकड़ों के अनुसार, अब तक इन केंद्रों पर 471 किसानों से 3305.81 मीट्रिक टन धान की खरीद की जा चुकी है। निरीक्षण के वक्त किसान अमित सिंह के धान की तौल की जा रही थी, जिसे देखकर जिलाधिकारी ने खरीद की गति और किसानों की संख्या बढ़ाने के निर्देश दिए।

लापरवाही पर वेतन रोकने की कार्रवाई
निरीक्षण के दौरान जिलाधिकारी तब बेहद नाराज हुए जब उन्होंने पाया कि खरीदे गए धान का उठान समय पर नहीं हो रहा है। कुल खरीदे गए धान में से केवल 729.18 मीट्रिक टन का प्रेषण हुआ था। जब उन्होंने इसका कारण पूछा, तो मंडी सचिव ने बताया कि ट्रांसपोर्टर गिरीश सिंह द्वारा गाड़ियां उपलब्ध नहीं कराई जा रही हैं। इस पर जिलाधिकारी ने कड़ी फटकार लगाते हुए मंडी सचिव का वेतन रोकने और स्पष्टीकरण मांगने के निर्देश दिए। साथ ही केंद्र प्रभारी हेमंत द्वारा धान क्रय के नियमों के पालन में शिथिलता बरतने पर उनका भी वेतन रोकने का आदेश दिया। उन्होंने डिप्टी आर०एम०ओ० को निर्देश दिया कि लापरवाह ठेकेदार के खिलाफ तत्काल विधिक कार्रवाई की जाए और धान के उठान का प्रबंध सुनिश्चित हो।
पारदर्शिता और गुणवत्ता पर विशेष जोर
जिलाधिकारी चंद्र मोहन गर्ग ने स्वयं बाट रखवाकर कांटे की सटीकता की जांच की और नमी मापक यंत्र व डस्टर का सत्यापन किया। उन्होंने केंद्र प्रभारियों को स्पष्ट चेतावनी दी कि किसानों को धान बेचने में किसी भी प्रकार की असुविधा नहीं होनी चाहिए। उन्होंने कहा कि सीमांत और छोटे किसानों को प्राथमिकता दी जाए और क्रय नीति में वर्णित सभी निर्देशों का शत-प्रतिशत पालन हो। गुणवत्ता से किसी भी प्रकार का समझौता बर्दाश्त नहीं किया जाएगा। इसके साथ ही उन्होंने अधिकारियों को यह भी सुझाव दिया कि पिछले वर्षों में धान बेचने वाले किसानों से संपर्क कर उन्हें केंद्रों तक आने के लिए प्रोत्साहित किया जाए ताकि बिचौलियों की भूमिका समाप्त हो सके।
पिछली खरीद की जांच के आदेश
प्रशासनिक सख्ती दिखाते हुए जिलाधिकारी ने पिछले 15 दिनों के भीतर की गई सभी खरीद की गहन जांच करने के निर्देश दिए हैं। उन्होंने डिप्टी आर०एम०ओ० राघवेंद्र सिंह को जिम्मेदारी सौंपी है कि वह जांच करें कि क्या खरीद में किसी भी स्तर पर फर्जीवाड़ा या अनियमितता हुई है। उन्होंने स्पष्ट किया कि यदि जांच में किसी भी अधिकारी या कर्मचारी की मिलीभगत पाई जाती है, तो उनके खिलाफ कठोर दंडात्मक कार्रवाई की जाएगी। निरीक्षण के दौरान एआर कॉपरेटिव श्रीप्रकाश सहित अन्य विभागीय अधिकारी उपस्थित रहे। इस कार्रवाई से पूरे मंडी परिसर और खरीद एजेंसियों में हड़कंप मचा हुआ है।
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