देखिए वीडियो : जहां बांध से निकलकर आराम फरमाते हैं मगरमच्छ व सांप, वहां कमर भर पानी में स्कूल जा रहे बच्चे
चंदौली जिले में एक ऐसा प्राथमिक स्कूल है जहां नौनिहाल नौगढ़ बांध के गंदे पानी से निकलकर स्कूल जाने को मजबूर है। इस विद्यालय में सांप भी निकलते हैं और बांध से निकलकर छोटे- बड़े मगरमच्छ भी आराम करते हैं। जी हां हम बात कर रहे हैं , नौगढ़ के गांव सेमर साधोपुर के प्राथमिक स्कूल का। इस स्कूल में पढऩे वाले बच्चों को घर से निकलकर बांध के पानी से गुजरकर स्कूल पहुंचना पड़ रहा है। इतना ही नहीं बल्कि नौनिहालों के परिजनों को बच्चों के साथ पानी से होकर स्कूल छोडऩे जाना पड़ता है।
आपको बता दें कि स्कूल का मुख्य रास्ता बंद होने से यहां नियुक्त अध्यापकों को भी पहाड़ियों में बसे पुरे गांव का चक्कर लगाने के बाद पगडंडियों के उबड़ खाबड़ रास्तों से हर दिन स्कूल जाना पड़ता है। लगातार बारिश के चलते बाध का पानी भरने के कारण स्कूल में जाने वाले बच्चों की संख्या भी आधी हो गई है। हालांकि ग्राम प्रधान और हेड मास्टर के द्वारा इस गंभीर समस्या से निजात हेतु प्राशनिक अधिकारियों को कई दफा अवगत भी करवाया। लेकिन हर बार की तरह समाधान कुछ नहीं हुआ। अब इसे मजबूरी ही समझें कि नौनिहालों को अपना भविष्य बनाने के लिए यह बाधा पार करनी पड़ रही है। अमर उजाला की पड़ताल में पाठशाला में लगभग 50 बच्चे शिक्षा ग्रहण करने पहुंचे थे, इसी के अंदर आंगनबाड़ी केंद्र भी हैं। लेकिन बांध के पानी का जलभराव इनके संचालन में बाधा बन रहा है।
सेमर साधोपुर के प्राथमिक पाठशाला के हर तरफ दो-दो फुट बरसाती पानी जमा है। लेकिन पाठशाला में अंदर आने जाने का एक भी रास्ता नहीं बचा है। पाठशाला के मुख्य द्वार पर भी जलभराव होने से समस्या गंभीर बनी हुई है। ऐसा भी नहीं कि यह जलभराव अभी हुआ है। ग्रामीणों के मुताबिक हर साल 5 महीने से ये हालात बने रहते हैं। इसके बावजूद भी पानी निकासी के लिए प्रशासन की ओर से कोई प्रबंध नहीं किए गए। इन दिनों बरसाती सीजन चल रहा है। रुक-रुक कर होने वाली बरसात आगामी दिनों में भी स्कूल स्टाफ, बालकों के लिए और बड़ी मुसीबत बन सकती है। लेकिन इन हालातों से निजात दिलाने के लिए कोई कदम नहीं उठाए जा रहे। ग्रामीणों को मजबूरी में अपने बच्चों को पाठशाला में पहुंचाने के लिए साथ जाना पड़ता है। स्कूल परिसर में धूप लेने हेतु बांध से निकलकर आराम फरमाते हैं मगरमच्छ और साफ सफाई के दौरान कमरे में सांप भी निकलते रहे हैं।
क्या कहते हैं ग्राम प्रधान कृष्ण कुमार जायसवाल
सरकारी पाठशाला के बाहर जलभराव के हालात बने हुए है। इस बारे में प्रशासन, पंचायत विभाग व संबंधित विभागों को सारी स्थिति से अवगत करवा दिया है। पंचायत अपने स्तर पर इस प्रकार के इंतजाम करने का प्रयास करेंगी जिससे हर वर्ष शैक्षणिक कार्य अवरुद्ध न हों।
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